नई दिल्ली। नेपाल में देर रात आए भूकंप से अब तक 132 लोगों की मौत हो चुकी है जबकि सैकड़ो घायल हैं। जानकारी के मुताबिक भूकंप से गिरी बिल्डिंगों में अभी भी कई लोगों के दबे होने की आशंका है। राहत एवं बचाव अभियान बड़े पैमाने पर जारी है।
नेपाल के राष्ट्रीय भूकंप मापन केंद्र के मुताबिक भूकंप का केंद्र नेपाल के जाजरकोट जिले के लामिडांडा इलाके में था. नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल ‘प्रचंड’ ने भूकंप से हुई लोगों की मौत पर दुख जताया है. उन्होंने बचाव और राहत के लिए 3 सुरक्षा एजेंसियों को तैनात किया है। शुक्रवार देर रात आए इस भूकंप की तीव्रता 6.4 थी। इस भूकंप के कारण कई इमारतें ढह गई हैं और तबाही का आलम यह है कि 132 लोगों की मौत हो चुकी है. अभी भी मौतों के आंकड़े बढ़ सकते हैं. मलबे में दबने के कारण कई लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं, जिन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
बताया जा रहा है कि भूकंप के कारण ज्यादातर लोगों की मौत रुकुम पश्चिम और जाजरकोट में हुई है. मृतकों की जानकारी रुकुम पश्चिम के डीएसपी नामराज भट्टराई और जाजरकोट के डीएसपी संतोष रोक्का ने दी है. नेपाल में आए भूकंप में मरने वालों की संख्या 129 तक पहुंच गई है. प्रधानमंत्री के निजी सचिवालय के मुताबिक, जाजरकोट भूकंप में 92 लोगों की मौत हो गई है और 55 लोग घायल हो गए हैं. वहीं रुकुम वेस्ट में 36 लोगों की मौत हो गई और 85 लोग घायल हो गए।
दिल्ली-एनसीआर में मची अफरा-तफरी
नेपाल में तबाही मचाने वाले भूकंप की तीव्रता का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि उसका असर दिल्ली-एनसीआर समेत पूरे उत्तर भारत में देखा गया. बिहार के पटना और मध्य प्रदेश के भोपाल तक भूकंप के हल्के झटके महसूस किए गए. दिल्ली-एनसीआर में लोग अपने घरों से बाहर निकल आए और हाईराइज बिल्डिंग में रहने वाले लोगों में अफरा-तफरी देखी गई. दरअसल, बीते हर महीने लगभग एक बार दिल्ली-एनसीआर में भूकंप के झटके लगे हैं।